पैसे बढ़ाने के तरीके | हल्का बटुआ भरने के छह इलाज
पहला इलाज : दसवां हिस्सा बचत के रूप में रखें
आज मैं आपको बताऊंगा कि कैसे मैने अपने बटुए को धीरे धीरे भरना शुरू किया, और देखते ही देखते मेरा बटुए धीरे धीरे भरने लगा कैसे मैने एक छोटी सी आदत को बदलकर अपने जीवन को ही बदल लिया ।जो मैं कह रहा हूं उसकी सरलता के कारण उसे अनदेखा न करें। मैंने कहा था कि मैं बताऊंगा कि मैंने अपनी संपत्ति कैसे बनाई। यह मेरी शुरुआत थी। मेरा भी बटुआ हल्का था और मैं इसे गाली देता था, क्योंकि मेरे पास अपनी इच्छाएं पूरी करने का कोई तरीका नहीं था, पहले जब में घर से बाहर निकलता था तो बाहर की सभी आनंददायक और लुभावनी चीजों को देखकर सिर्फ उन्हें पाने की कल्पना करता था कि काश मेरे पास भी ये वस्तु होती तो मैं भी अपना जीवन आनंद के साथ बिताता जीवन के सभी आनंद लेता।आप जो भी कमा रहे हैं जितना भी कमा रहे हैं उसमें से सिर्फ नब्बे प्रतिशत धन या कमाई का ही व्यय करे और दस प्रतिशत धन का संचय (बचत) करें। अब मैं एक अजीब-सा सच बताऊंगा, जिसका कारण मैं नहीं जानता। जब मैं अपनी आमदनी का सिर्फ नब्बे प्रतिशत खर्च करने लगा, मेरा उतने में अच्छे से काम चलने लगा। मेरे पास पहले से कमी नहीं थी। निश्चित ही यह देवताओं का नियम है कि जिसने सारा पैसा खर्च न करके एक हिस्सा अपने पास बचाया, उसके पास धन आसानी से आता है।
आपमें किस चीज की सबसे ज्यादा इच्छा है? क्या आप हर रोज किसी आभूषण, किसी सुंदर चीज, बेहतर चीजों, ज़्यादा भोजन में चीजें खर्च करना चाहते हैं, जो तुरंत चली जाती हैं और भूल जाती हैं? या फिर आप अच्छी जायदाद, स्वर्ण, जमीन, मवेशी, समान और आमदनी लाने वाले निवेश चाहते हैं? बटुए से निकाले जाने वाले सिक्के पहली चीज लाते हैं। जिन सिक्कों को आप बटुए में छोड़ देते हैं, वे दूसरी चीज लाते हैं।
दूसरा इलाज: अपने खर्च पर नियंत्रण करें
जरूरी खर्चों को अपनी इच्छाओं से न मिलाएं। आप सभी के पास, अपने परिवारों के साथ, आमदनी से ज्यादा इच्छाएं है। इसीलिए आपकी कमाई उन इच्छाओं को पूरा करने में हमेशा खर्च होती रहेगी। तब भी आपकी कई इच्छाएं अधूरी रह जाएंगी।सभी इंसान क्षमता से ज्यादा इच्छाओं से भरे हुए हैं। मैं अपनी संपत्ति के कारण अपनी सभी इच्छाएं पूरी कर सकता हूं? यह गलत सोच है। मेरे समय की सीमा है। मेरी क्षमता की सीमा है। मैं जितनी दूरी तय कर सकता हूं इसकी सीमा है। जितना मैं खा सकता हूं, उसकी सीमा है। मैं जितना आनंद उठा सकता हूं, उसकी सीमा है। आपकी इच्छाएं कई हैं, लेकिन उनमें कुछ ही पूरी हो सकती हैं।
आप अपने स्वयं के जीवन और दैनिक जरूरतों को परखे जिसमें आपको कई ऐसे खर्चे मिलेंगे, जो जिन्हें हटाया जा सकता है। आपका लक्ष्य होना चाहिए कि खर्च किए गए धन का शत प्रतिशत लाभ मिले।
अब उन जरूरतों और खर्चों की सूची बना ले जिनके बिना जीवन का गुजारा संभव नहीं हैं। बाकी की इच्छाओं और खर्चों को कम करदे एवं बिलकुल अपने जीवन से हटा लें।
तीसरा इलाज: अपने स्वर्ण को बढ़ाए
देखिए आपका भंडार धीरे धीरे भरता जा रहा हैं। आपने अपने आप में इतना अनुशासन डाल लिया है कि आप अपनी कमाई के दसवें हिस्से को बचा सकें। आपने खर्चों को नियंत्रित कर लिया है ताकि आपका खजाना बढ़ता जाए। अब मैं आपको बताऊंगा की इस खजाने को कैसे काम पर लगाया जाए ताकि अब आपको मेहनत ना करनी पड़े। अब आपके के लिए आपका खजाना कमाएगा और आपको कमा के देगा देखा जाए तो ये ऐसे काम करता जैसे आपका बेटा बड़ा हो गया और कमाने लग गया। अब हम जो कमाई से बचाते हैं वह तो सिर्फ शुरुआत है। इसकी कमाई से ही आप संपत्ति खड़ी करेंगे।
अब अपने बचत किए गए धन को ऐसी जगह निवेश करें जिससे आपको ज़्यादा से ज्यादा लाभ मिल सके। इसके लिए आपको एक जानकार व्यक्ति से सलाह लेनी होगी की इस धन को किस जगह निवेश किया जाए की नुकसान न हो क्योंकि मैंने जब पहली बार अपने धन का निवेश किया तब मुझे नुकसान का सामना करना पड़ा था।
अब सबसे उत्तम उपाय पर ध्यान लगाते हैं अपनी बचत किए गए धन से स्वर्ण खरीदना शुरू करें धीरे धीरे करके इस स्वर्ण को जमा करते करते जाए जैसे आपके पास उचित धन संचित हो जाय उसका स्वर्ण क्रय करले क्योंकि स्वर्ण की कीमत हमेशा बढ़ती हैं।
अब अपने बचत किए गए धन को ऐसी जगह निवेश करें जिससे आपको ज़्यादा से ज्यादा लाभ मिल सके। इसके लिए आपको एक जानकार व्यक्ति से सलाह लेनी होगी की इस धन को किस जगह निवेश किया जाए की नुकसान न हो क्योंकि मैंने जब पहली बार अपने धन का निवेश किया तब मुझे नुकसान का सामना करना पड़ा था।
अब सबसे उत्तम उपाय पर ध्यान लगाते हैं अपनी बचत किए गए धन से स्वर्ण खरीदना शुरू करें धीरे धीरे करके इस स्वर्ण को जमा करते करते जाए जैसे आपके पास उचित धन संचित हो जाय उसका स्वर्ण क्रय करले क्योंकि स्वर्ण की कीमत हमेशा बढ़ती हैं।
निवेश का पहला सिद्धांत है कि मूलधन की रक्षा हो। जल्दी और बड़ी मात्रा में लाभ प्रदान करने वाले प्रलोभनों से बचे। क्या ज्यादा लाभ का उद्देश्य रखना सही है, जब आपका मूल रकम ही चली जाए तो इसका उत्तर मेरे हिसाब से ना हैं। क्योंकि आपको ऐसी जगह निवेश करना हैं जिससे आपके मूलधन को कोई नुकसान न पहुंचे।
किसी भी क्षेत्र में निवेश करने से पहले ये देख ले की उसमें क्या - क्या खतरे हैं। निवेश करने के मामले में अपनी बुद्धि पर भरोसा करने से बेहतर है की आप ज्यादा लाभ कमाने वालों से संपर्क करें ।
अत: अपने धन को ऐसी जगह निवेश करे जिससे आपका मूलधन सुरक्षित रहें एवं जरूरत पड़ने पर उसे निकाला जा सकें।
हमेशा कुछ न कुछ ऐसा करते रहे जो आपकी कार्यक्षमता को बढ़ाए आपके कार्य में आपको पूर्ण कुशल या विशेषज्ञ बना दे। इस के लिए आपको अपने अंदर की तीव्र ईच्छा की ज्वाला को बुझने नहीं देना हैं।
अपने आमदनी और धन को भविष्य के लिए बचाकर रखने के बहुत से उपाय उपलब्ध हैं। जैसे आप ऐसी जमीन या घर खरीद सकते हैं, जिसका भविष्य में आपको बहुत अच्छा धाम मिले। आजकल बहुत से ऐसी कंपनी हैं जो बीमा का कार्य करती हैं, आप उन कंपनियों की मदद से ऐसा बीमा का फिक्स्ड डिपॉजिट करवा सकते हैं जिसका लाभ आपको भविष्य मिले। जो बुढ़ापे में आपकी बहुत मदद करेगा। आजकल इसी बहुत सी सिस्टेमेटिक इन्वेस्टमेंट पॉलिसी (SIP) उपलब्ध हैं जिसकी सहायता से आप भविष्य के लिए अपना धन बचाकर रख सकते हैं।
किसी भी क्षेत्र में निवेश करने से पहले ये देख ले की उसमें क्या - क्या खतरे हैं। निवेश करने के मामले में अपनी बुद्धि पर भरोसा करने से बेहतर है की आप ज्यादा लाभ कमाने वालों से संपर्क करें ।
अत: अपने धन को ऐसी जगह निवेश करे जिससे आपका मूलधन सुरक्षित रहें एवं जरूरत पड़ने पर उसे निकाला जा सकें।
पांचवा इलाज: अपनी कमाने की क्षमता को बढ़ाए
अपने कमाने की क्षमता बढ़ाने से पहले आपमें अपनी क्षमता को बढ़ाने की इच्छा होना जरुरी हैं ऐसी इच्छा जो आपके अंदर गहराई तक धंसी हो। अत: अब धीरे धीरे अपने कमाने की क्षमता के ऊपर विचार करें। और अपने कुशलता का निरीक्षण करें की आप किस कार्य सर्वाधिक कुशलता के साथ कर सकतें हैं। जो दूसरों की तुलना में बहुत अच्छा हो। आप इस गुण की खोज करें और उस परकाम करना शुरू करें। या आप ये भी कर सकते हैं। कि आप जो कार्य कर रहे हैं उसमें ज्यादा से ज्यादा कुशल कैसे बना जा सकता हैं। ऐसा करने से आपकी कार्य की क्षमता बढ़ेगी और आपका कार्य बिना किसी त्रुटि के पूर्ण होगा जो निश्चित ही आपकी आमदनी में वृद्धि करेगा।हमेशा कुछ न कुछ ऐसा करते रहे जो आपकी कार्यक्षमता को बढ़ाए आपके कार्य में आपको पूर्ण कुशल या विशेषज्ञ बना दे। इस के लिए आपको अपने अंदर की तीव्र ईच्छा की ज्वाला को बुझने नहीं देना हैं।
छठा इलाज़ : भविष्य के लिए धन बचाकर रखे
हर इंसान का जीवन बचपन से बुढ़ापे तक बढ़ता है। यह जीवन का मार्ग है और कोई भी इंसान इससे अलग नहीं हो सकता, अगर उसे भगवान समय से पहले न बुला ले। इसीलिए मैं कहता हूं कि एक इंसान को आने वाले दिनों के लिए आमदनी सुनिश्चित कर लेनी चाहिए, जब वह युवा न रहे और अपने परिवार की देखभाल के लिए भी जब वे उनके साथ न रहे। यह पाठ आपकी तब सहायता करेगा, जब आप कमाने के कम लायक बचे हों।अपने आमदनी और धन को भविष्य के लिए बचाकर रखने के बहुत से उपाय उपलब्ध हैं। जैसे आप ऐसी जमीन या घर खरीद सकते हैं, जिसका भविष्य में आपको बहुत अच्छा धाम मिले। आजकल बहुत से ऐसी कंपनी हैं जो बीमा का कार्य करती हैं, आप उन कंपनियों की मदद से ऐसा बीमा का फिक्स्ड डिपॉजिट करवा सकते हैं जिसका लाभ आपको भविष्य मिले। जो बुढ़ापे में आपकी बहुत मदद करेगा। आजकल इसी बहुत सी सिस्टेमेटिक इन्वेस्टमेंट पॉलिसी (SIP) उपलब्ध हैं जिसकी सहायता से आप भविष्य के लिए अपना धन बचाकर रख सकते हैं।
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